जल्दी से पढ़ लो यह नया नियम, नहीं तो रु 2000 चालान कट जाएगा – बदलने वाला है ट्रैफिक से जुड़ा ये नियम
देश में सर्दी के मौसम की शुरुआत होने वाली है । देश के कई शहरों में तो थोड़ी थोड़ी ठंड पड़ने लगी है। आने वाले दिनों में ठंड का जोर और भी बढ़ेगा । इसके साथ साथ मार्गों पर कोहरे की समस्या भी बढ़ेगी । इस से ट्राफिक को कोई समस्या न हो इस लिए यह नया ट्राफिक नियम लागू किया जा रहा है। बदलने वाला है ट्रैफिक से जुड़ा ये नियम। कोहरे की वजह से होने वाले एक्सीडेंट को रोकने के लिए सर्दियों की मौसम मे मुख्य हाई स्पीड मार्गों पर गति नियंत्रण लागू कर दिया जाता है। यह गति नियंत्रण का उल्लंघन करने पर आप को रु.2000 का दंड भरना पद सकता है।
बात है देश के सबसे पॉपुलर यमुना एक्सप्रेसवे की, जहां हर साल स्पीड लिमिट को लागू किया जाता है। यमुना एक्सप्रेसवे आगरा से ग्रेटर नोएडा को जोड़ता है । इस रूट पर सर्दी के दिनों पर कोहरा बढ़ जाता है जिसके चलते इस पर चलने वाली गाड़ियों की स्पीड लिमिट को घटा दिया गया है। हर साल सर्दियाँ शुरू होते ही यमुना एक्सप्रेसवे पर स्पीड लिमिट का नियम लागू कर दिया जाता है। नियम के तहत हल्के वाहनों ( लाइट मोटर व्हीकल ) के लिए गति मर्यादा 100km प्रति घंटा से घटाकर 80km प्रति घंटा कर दी जाती है। और भारी वाहनों ( हेवी कमर्शियल व्हीकल ) के लिए अधिकतम गति 60km प्रति घंटा कर दी जाती है। अगर कोई इस का उल्लंघन करता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाती है और 2000 रुपए का चालान काटने का प्रावधान है। सामने रूप से यह नियम फरवरी तक लागू राहत है। अगर कोहरे का प्रमाण ज्यादा हो तो इस की अवधि को बढ़ाया भी जाता है।
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बदलने वाला है ट्रैफिक से जुड़ा ये नियम
क्या है स्पीड लिमिट से जुड़े नियम ? What are speed limit rules ?
भारत में नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे पर चलने वाली गाड़ियों की स्पीड को लेकर अलग-अलग नियम हैं। नेशनल हाईवे पर कार जैसे लाइट मोटर व्हीकल के लिए 100km प्रति घंटा की अधिकतम स्पीड लिमिट तय की गई है, और एक्सप्रेस-वे पर ये गति मर्यादा 120km प्रति घंटा की है। टू-व्हीलर और हैवी व्हीकल के लिए भी अलग-अलग प्रवधान है। टू-व्हीलर के लिए हाईवे और एक्सप्रेसवे पर स्पीड लिमिट 80km प्रति घंटा और हैवी व्हीकल, जैसे बस और ट्रक के लिए स्पीड लिमिट 100km प्रति घंटा होती है । यह गति मर्यादा सामान्य दिनों में लागू होती है , लेकिन सर्दी के मौसम में इस स्पीड लिमिट को कम कर दिया जाता है।
गति नियंत्रक कैमरा कैसे काम करता है ? How Speed Detection Camera Works ?
गति नियंत्रण के लिए एक्सप्रेसवे पर ऐसे CCTV कैमरे लगाए गए हैं जो गाड़ी की स्पीड पर नजर रखते हैं। यह कैमरा रडार टेक्नॉलजी पर कार्य करता है । इसके बारे में आप यहां से ज्यादा जान सकते है। यह कैमरा उसके दायरे मे प्रवेश के प्रारंभ और अंत दोनों पर गाड़ी का नंबर प्लेट और समय को कैप्चर करता है, और इस जानकारी आगे नियंत्रण कक्ष को भेजता है। इसके बाद प्लेटफ़ॉर्म प्रत्येक गुजरने वाले वाहन के औसत वेग का मूल्यांकन करता है। अनुभाग की लंबाई बढ़ने पर वेग का पता लगाने में त्रुटि की संभावना कम हो जाती है। अनुभागों की अनुशंसित दूरी 2-5 किमी है, जिसमें सटीकता 99.8% तक पहुंच जाती है। विभिन्न प्रकार के वाहनों के लिए एकाधिक वेग सीमाएँ भी निर्धारित की जा सकती हैं।आप गाड़ी की स्पीड 120km/h से ज्यादा रखते हैं, तब अगले टोल प्लाजा पर पता चल जाता है। जिसके बाद वहां पर गाड़ी का चालान किया जा सकता है। ये चालान वैसे तो फिक्स होता है, लेकिन स्पीड के हिसाब से ज्यादा भी किया जा सकता है। जैसे यमुना एक्सप्रेसवे पर स्पीड लिमिट क्रॉस करने पर 500 रुपए का चालान लगता है। 2019 में 214km/h की स्पीड के चलने वाली मर्सिडीज पर 2000 रुपए का ई-चालान किया गया था। चालान नहीं भरने की कंडीशन में ड्राइविंग लाइसेंस कैंसल किया जा सकता है।